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15 Obstacles That Can Easily Derail Us From Our Path Of Bhakti9 Must Have Qualities Of A Good Vaishnav DevoteeWhy Should One Do Bhakti? 80 Facts About Bhakti [Must Read]What Is Navdha Bhakti? And Why Is It So Important For Us?



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राधे मोरी बंसी कहा खो गयी,
कोई ना बताये और शाम हो गयी,
कोई पकड़ के मेरा हाथ रे,
मोहे वृन्दावन पहुंच देओ ।
तेरी मुरली की धुन सुनने मैं बरसाने से
मैं बरसाने से आयी हूँ, मैं वृषभानु की
सांवरे से मिलने का, सत्संग ही बहाना है,
चलो सत्संग में चलें, हमें हरी गुण गाना
हम प्रेम दीवानी हैं, वो प्रेम दीवाना।
ऐ उधो हमे ज्ञान की पोथी ना सुनाना॥
हम प्रेम नगर के बंजारिन है
जप ताप और साधन क्या जाने
सत्यम शिवम सुन्दरम
सत्य ही शिव है, शिव ही सुन्दर है
हरी नाम नहीं तो जीना क्या
अमृत है हरी नाम जगत में,
लाडली अद्बुत नज़ारा तेरे बरसाने में
लाडली अब मन हमारा तेरे बरसाने में है।
आँखों को इंतज़ार है सरकार आपका
ना जाने होगा कब हमें दीदार आपका
मेरी विनती यही है राधा रानी, कृपा
मुझे तेरा ही सहारा महारानी, चरणों से
मेरा अवगुण भरा रे शरीर,
हरी जी कैसे तारोगे, प्रभु जी कैसे
प्रीतम बोलो कब आओगे॥
बालम बोलो कब आओगे॥
जग में सुन्दर है दो नाम, चाहे कृष्ण कहो
बोलो राम राम राम, बोलो श्याम श्याम
ज़रा छलके ज़रा छलके वृदावन देखो
ज़रा हटके ज़रा हटके ज़माने से देखो
गोवर्धन वासी सांवरे, गोवर्धन वासी
तुम बिन रह्यो न जाय, गोवर्धन वासी
मोहे आन मिलो श्याम, बहुत दिन बीत गए।
बहुत दिन बीत गए, बहुत युग बीत गए ॥
दिल की हर धड़कन से तेरा नाम निकलता है
तेरे दर्शन को मोहन तेरा दास तरसता है
श्याम हमारे दिल से पूछो, कितना तुमको
याद में तेरी मुरली वाले, जीवन यूँ ही
नटवर नागर नंदा, भजो रे मन गोविंदा
शयाम सुंदर मुख चंदा, भजो रे मन गोविंदा
किसी को भांग का नशा है मुझे तेरा नशा है,
भोले ओ शंकर भोले मनवा कभी न डोले,
सांवली सूरत पे मोहन, दिल दीवाना हो गया
दिल दीवाना हो गया, दिल दीवाना हो गया ॥
सब दुख दूर हुए जब तेरा नाम लिया
कौन मिटाए उसे जिसको राखे पिया
कहना कहना आन पड़ी मैं तेरे द्वार ।
मुझे चाकर समझ निहार ॥
ये तो बतादो बरसानेवाली,मैं कैसे
तेरी कृपा से है यह जीवन है मेरा,कैसे
मेरी करुणामयी सरकार पता नहीं क्या दे
क्या दे दे भई, क्या दे दे
मेरी चुनरी में पड़ गयो दाग री कैसो चटक
श्याम मेरी चुनरी में पड़ गयो दाग री
वृंदावन में हुकुम चले बरसाने वाली का,
कान्हा भी दीवाना है श्री श्यामा
बाँस की बाँसुरिया पे घणो इतरावे,
कोई सोना की जो होती, हीरा मोत्यां की जो
अपनी वाणी में अमृत घोल
अपनी वाणी में अमृत घोल

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हे प्रभू साधन बना लो,
मुझ को अपनी शांति का॥
मंगल मूर्ति मारुती नंदन,
सकल अमंगल मूल निकंदन,
सर्वोपरि प्रेमी शिव शंकर, सर्वोत्तम
सर्वश्रेष्ठ पति परमेश्वर शिव सदा
खाटू माहीं होवे रे धमाल, आयो मेलो फागण
आयो मेलो फागण रो, आयो मेलो फागण रो,
प्रभु श्री राम की गौरव गाथा,
बाला जी है गाये,