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Pravachan Poddar Group Institure, Jaipur

H H Sri Pundrik Ji Pravachan Poddar Group Institute Jaipur Part 1

H. H. Sri Pundrik Ji Pravachan in Poddar Institute Jaipur Part 2

H H Sri Pundrik Ji Pravachan Poddar Institute Jaipur Part 3

H H Sri Pundrik Ji Pravachan Poddar Institute Jaipur Part 4

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बृज के नंदलाला राधा के सांवरिया,
सभी दुःख दूर हुए, जब तेरा नाम लिया।
साँवरिया ऐसी तान सुना,
ऐसी तान सुना मेरे मोहन, मैं नाचू तू गा ।
हर साँस में हो सुमिरन तेरा,
यूँ बीत जाये जीवन मेरा
आप आए नहीं और सुबह हो मई
मेरी पूजा की थाली धरी रह गई
तू राधे राधे गा ,
तोहे मिल जाएं सांवरियामिल जाएं
सांवरे से मिलने का, सत्संग ही बहाना है,
चलो सत्संग में चलें, हमें हरी गुण गाना
मीठी मीठी मेरे सांवरे की मुरली बाजे,
होकर श्याम की दीवानी राधा रानी नाचे
करदो करदो बेडा पार, राधे अलबेली सरकार।
राधे अलबेली सरकार, राधे अलबेली सरकार॥
शिव कैलाशों के वासी, धौलीधारों के राजा
शंकर संकट हारना, शंकर संकट हारना
ऐसी होली तोहे खिलाऊँ
दूध छटी को याद दिलाऊँ
दिल लूटके ले गया नी सहेलियो मेरा
मैं तक्दी रह गयी नी सहेलियो लगदा बड़ा
तीनो लोकन से न्यारी राधा रानी हमारी।
राधा रानी हमारी, राधा रानी हमारी॥
मेरे बांके बिहारी बड़े प्यारे लगते
कही नज़र न लगे इनको हमारी
मेरा अवगुण भरा रे शरीर,
हरी जी कैसे तारोगे, प्रभु जी कैसे
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
फाग खेलन बरसाने आये हैं, नटवर नंद
राधा नाम की लगाई फुलवारी, के पत्ता
के पत्ता पत्ता श्याम बोलता, के पत्ता
राधिका गोरी से ब्रिज की छोरी से ,
मैया करादे मेरो ब्याह,
जय राधे राधे, राधे राधे
जय राधे राधे, राधे राधे
प्रभु कर कृपा पावँरी दीन्हि
सादर भारत शीश धरी लीन्ही
हम राम जी के, राम जी हमारे हैं
वो तो दशरथ राज दुलारे हैं
ज़री की पगड़ी बाँधे, सुंदर आँखों वाला,
कितना सुंदर लागे बिहारी कितना लागे
कैसे जिऊ मैं राधा रानी तेरे बिना
मेरा मन ही ना लागे तुम्हारे बिना
दुनिया से मैं हारा तो आया तेरे द्वार,
यहाँ से गर जो हरा कहाँ जाऊँगा सरकार
तेरे बगैर सांवरिया जिया नही जाये
तुम आके बांह पकड लो तो कोई बात बने‌॥
सारी दुनियां है दीवानी, राधा रानी आप
कौन है, जिस पर नहीं है, मेहरबानी आप की
मैं तो तुम संग होरी खेलूंगी, मैं तो तुम
वा वा रे रासिया, वा वा रे छैला
राधे मोरी बंसी कहा खो गयी,
कोई ना बताये और शाम हो गयी,
Ye Saare Khel Tumhare Hai Jag
Kahta Khel Naseebo Ka
वास देदो किशोरी जी बरसाना,
छोडो छोडो जी छोडो जी तरसाना ।
राधे राधे बोल, श्याम भागे चले आयंगे।
एक बार आ गए तो कबू नहीं जायेंगे ॥

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प्रणम्य शिरसा देवं गौरीपुत्रं
भक्तावासं स्मरेन्नित्यमायुः
आ गई है मैया गली गली में शोर,
मैं बनी पतंग मेरी मैया बन गई डोर...
करें जो नाश संकट का,
वो है अंबे मां जगदंबे,
तेरी आराधना करूँ,
तेरी आराधना करूँ,
गणपति महाराज बनाये बिगड़े काज,
मूषक है सवारी क्या निराला है अंदाज़,