Bhagavad Gita Chapter 9 Verse 16 भगवद् गीता अध्याय 9 श्लोक 16 अहं क्रतुरहं यज्ञः स्वधाऽहमहमौषधम्। मंत्रोऽहमहमेवाज्यमहमग्निरहं हुतम्।।9.16।। हिंदी अनुवाद - स्वामी तेजोमयानंद ।।9.16।। मैं ऋक्रतु हूँ मैं यज्ञ हूँ स्वधा और औषध मैं हूँ? मैं मन्त्र हूँ? घी हूँ? मैं अग्नि हूँ और हुतं अर्थात् हवन कर्म मैं हूँ।। Brahma Vaishnava Sampradaya - Commentary